छत्तीसगढ़ के किसान है खुशहाल :- धान बेचने उपरांत किसानो को धान की राशी निकालने के लिए अब लाइन में घंटो खड़ा नही होना पढ़ रहा है 10000 तक की राशि माइक्रो ए. टी.एम. से समिति स्तर पर किसानों को राशी भुगतान प्राप्त हो रही है जिसके चलते किसानों में खुशहाली का माहौल छाया हुआ है,
शासन ने किसानों को उनके द्वारा बेचे गए धान के एवज में 72 घंटे के भीतर उनके बैंक खातों में भुगतान करने की भी व्यवस्था की है। किसानों की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए, मुख्यमंत्री ने 10 हजार रुपये तक की राशि माइक्रो एटीएम से तुरंत देने की अनुमति दी है। अब किसानों को धान बेचने के लिए उपार्जन केंद्र तक उनका परिवहन करने के लिए किराए पर लिए गए ट्रैक्टर, मेटाडोर और हमाली-मजदूरी का भुगतान करने के लिए न तो किसी से पैसे उधार लेने की जरूरत होगी, न ही बैंकों के चक्कर लगाने की जरूरत होगी। किसान मुख्यमंत्री की इस सुविधा से बहुत खुश है।
समर्थन मूल्य पर छत्तीसगढ़ में धान खरीदना
अब तक राज्य ने लगभग 121 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा है। 22.49 लाख किसानों को धान खरीदने के एवज में बैंक लिकिंग व्यवस्था के तहत 25 हजार 549 करोड़ रूपए का भुगतान किया गया है।
14 नवंबर से छत्तीसगढ़ में धान खरीदी का सिलसिला निरंतर जारी है। वहीं, धान खरीदी प्रक्रिया पर वरिष्ठ अधिकारियों का निरंतर निरीक्षण किया जाता है। अब तक राज्य ने लगभग 121 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा है। 22.49 लाख किसानों को धान खरीदने के एवज में बैंक लिकिंग व्यवस्था के तहत 25 हजार 549 करोड़ रूपए का भुगतान किया गया है। 31 जनवरी 2025 तक धान खरीदी अभियान चलेगा।
प्रदेश के सभी पंजीकृत कृषकों को खरीफ विपणन वर्ष 2024-25 में धान विक्रय के लिए टोकन सुविधा, टोकन तुंहर हांथ नामक ऑनलाइन एप और उपार्जन केन्द्रों में 25 जनवरी 2025 तक उपलब्ध कराया गया है. किसान सुविधा के अनुसार तारीख का चयन कर नियमानुसार धान विक्रय कर सकते हैं।
धान खरीदने के साथ-साथ मिलर्स धान का उठाव भी तेजी से कर रहे हैं। 92.65 लाख मीटरिक टन धान के उठाव के लिए अब तक डीओ और टीओ जारी किए गए हैं, जिसके बदले 65 लाख मीटरिक टन धान का उठाव हुआ है। इस खरीफ वर्ष, 27.78 लाख किसानों ने पंजीयन कराया है। इसमें 1.59 लाख नए कृषक हैं। 2739 उपार्जन केन्द्रों से इस वर्ष 160 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा जाएगा।